मनसुख हिरेन केस में एनआईए ने बुधवार को मुंबई पुलिस के निलंबित अधिकारी सचिन वाझे को कोर्ट में पेश किया. इस दौरान स्पेशल एनआईए कोर्ट ने सचिन वाझे की कस्टडी बढ़ा दी है. अब सचिन वाझे 9 अप्रैल तक एनआईए की कस्टडी में रहेगा. इस दौरान अदालत ने सीबीआई को एनआईए की हिरासत में सचिन वाझे से पूछताछ करने की अनुमति दे दी है. साथ ही सीबीआई को पूछताछ के समय का समन्वय करने का निर्देश दिया है.
परमबीर सिंह के लेटर मामले में सीबीआई (CBI) को सचिन वाझे से पूछताछ करने की इजाजत मिली गई है. CBI ने NIA की विशेष अदालत से वाज़े से पूछताछ के लिए इजाजत मांगी थी. 100 करोड़ रुपए वसूली मामले में अब CBI वाज़े से पूछताछ करेगी.
आपको बता दें कि इससे पहले एनआईए (NIA) सचिन वाझे ( Sachin Waze) को लेकर मीठी नंदी गई थी. सचिन वाझे पर सबूत नष्ट करने के आरोप हैं. एनआईए को मीठी नदी से अहम सबूत मिले थे. मीठी नदी से डीवीआर और नंबर प्लेट बरामद हुए हैं. मीठी नदी से एक DVR, एक CPU और गाड़ी के नंबर प्लेट्स मिले हैं. सचिन वाजे ने अपने बिल्डिंग के सीसीटीवी का DVR अपने कब्जे में लेकर सबूत मिटाने की कोशिश की थी.
इसके अलावा जिस दुकान पर गाड़ी का नंबर प्लेट बदला गया था वहां का DVR भी वाजे ने अपने कब्जे में ले लिया था. मीठी नदी में गोताखोरों की मदद से NIA ने DVR एक CPU और नंबर प्लेट्स बरामद किए. बीकेसी के पास मीठी नदी में सचिन वाजे ने सबूतों को फेंका था. उन्हीं सबूतों को ढूंढने के लिए NIA की टीम वाजे को लेकर गई थी. मीठी नदी से एक मोबाइल का कवर, दो डीवीआर भी मिले हैं. साथ ही एक लैपटॉप भी निकाला गया. मीठी नदी से एक वाईफाई का मॉडम भी मिला है.